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कांग्रेस महाधिवेशन का संकेत साफ, MP में कमलनाथ ही बाॅस

मध्यप्रदेश की सियासत के लिए बेहद अहम माने जा रहे राष्ट्रीय महाधिवेशन के सन्देश

रायपुर/भोपाल (जोशहोश डेस्क) कांग्रेस के राष्ट्रीय महाधिवेशन का रविवार को समापन हुआ। मध्यप्रदेश के पड़ोसी राज्य में हुए इस महाधिवेशन के जो सन्देश दिख रहे हैं वह मध्यप्रदेश की सियासत के लिए बेहद अहम माने जा रहे हैं। अधिवेशन में पार्टी आलाकमान और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ का तालमेल सुर्ख़ियों में है।

अधिवेशन में कमलनाथ ने आर्थिक प्रस्ताव पेश कर राष्ट्रीय स्तर पर पार्टी की आर्थिक नीति तय करने की कमान संभाली। साथ ही यह भी तय हुआ कि कांग्रेस की राष्ट्रीय स्तर की अर्थी नीति छिंदवाड़ा मॉडल की तर्ज़ पर तैयार होगी। इसका सीधा अर्थ यह लगाया जा रहा है कि कांग्रेस राष्ट्रीय स्तर के साथ प्रदेश में भी कमलनाथ को बड़ी भूमिका में ही मान रही है।

अधिवेशन के दौरान राहुल गांधी ने जिस तरह मध्यप्रदेश में कांग्रेस की अंदरूनी सियासत पर दो टूक नसीहत दी और फिर कमलनाथ के साथ चुनावी तैयारियों पर विमर्श किया। इससे भी साफ है कि प्रदेश में नेतृत्व को लेकर पार्टी आलाकमान के मन में कोई दुविधा नहीं है और कमलनाथ पार्टी के भरोसे पर खरे उतर रहे हैं।

इसके पहले भारत जोड़ो यात्रा भी जब मध्यप्रदेश में थी तब भी राहुल गांधी ने कमलनाथ को आगामी विधानसभा चुनावों के लिए फ्री हैंड दिए जाने के संकेत दिए थे। इसके बाद भी पार्टी के कुछ नेताओं द्वारा जो बयानबाजी की गई उसको लेकर भी कांग्रेस आलाकमान गंभीर दिखा है। अधिवेशन का प्रदेश की सियासत के लिए यह सीधा सन्देश माना जा रहा कि कमलनाथ ही राज्य में कांग्रेस का सबसे बड़ा चेहरा हैं।

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