पंचायत-नगरीय निकायों में काम ठप, आज हड़ताल पर RTO, सामूहिक अवकाश पर तहसीलदार
प्रदेश में शासकीय कर्मचारियों का असंतोष खुलकर सामने आ रहा है।
Ashok Chaturvedi
भोपाल (जोशहोश डेस्क) प्रदेश में शासकीय कर्मचारियों का असंतोष खुलकर सामने आ रहा है। पंचायत एवं नगरीय निकायों के अधिकारी-कर्मचारी बीते एक सप्ताह से अनिश्चित कालीन हड़ताल पर चल ही रहे हैं अब परिवहन विभाग (आरटीओ) के अधिकारी-कर्मचारी भी गुरुवार को हड़ताल कर रहे हैं, जबकि तहसीलदार भी आज सामूहिक अवकाश पर रहेंगे। इसके कारण रजिस्ट्री, लाइसेंस और तहसीलों में होने वाले नक़्शे, खसरे, आय-जाति प्रमाणपत्र जैसे काम नहीं हो पाएंगे।
प्रदेश के परिवहन अधिकारी आज हड़ताल पर रहेंगे। न्यायाधीश संरक्षण अधिनियिम 1985 के तहत संरक्षण, वेतन विसंगति, सामान्य प्रशासन और वित्त विभाग की तरह पांच साल बाद प्रवर श्रेणी वेतनमान, परिवहन उप निरीक्षक पद पर विभागीय परीक्षा और लिपिक वर्ग को वर्दी जैसी मांगों के लेकर आज परिवहन विभाग के अधिकारी कर्मचारी एक दिन की सांकेतिक हड़ताल कर विरोध जताएंगे।
प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष कमलनाथ ने अधिकारी कर्मचारियों की मांगों का समर्थन किया है-
मप्र परिवहन अधिकारी संगठन के अध्यक्ष और इंदौर आरटीओ जितेंद्र रघुवंशी के मुताबिक अप्रैल में भी सरकार को मांग पत्र सौंपा था, लेकिन सरकार ने इस पर अब तक कोई सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं दी है। इस कारण गुरुवार को एक दिन की सांकेतिक हड़ताल कर विरोध जताया जायेगा। अगर अब एक माह में भी हमारी मांगों पर गौर नहीं किया गया तो अनिश्चित कालीन हड़ताल की जाएगी।
दूसरी ओर पदोन्नति और वेतन विसंगति जैसी मांगों को लेकर लेकर गुरुवार को प्रदेशभर के तहसीलदार और नायब तहसीलदार सामूहिक अवकाश पर रहेंगे। मध्यप्रदेश राजस्व अधिकारी संघ के कार्यकारी अध्यक्ष जितेंद्र तिवारी के मुताबिक 2016 से विभागीय पदोन्नाति बंद है, जिससे हम निराश हैं। हाल यह है कि 2012 बैच के नायब तहसीलदार और 2007 के तहसीलदार आज भी उसी पद पर हैं। वहीं छत्तीसगढ़ में वे लोग डिप्टी कलेक्टर तक हो गए।
जितेंद्र तिवारी के मुताबिक नायब तहसीलदार राजस्व अधिकारी के साथ-साथ कार्यपालिक मजिस्ट्रेट के रूप में कार्य करते हैं, लेकिन उन्हें राजपत्रित अधिकारी का दर्जा नहीं है। इससे फील्ड में परेशानी होती है। इन्हीं मांगों को लेकर सभी एक दिन के सामूहिक अवकाश पर जाएंगे।