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प्रदेश प्रभारी के कटुवचन के बाद सवाल, आखिर कौन हैं BJP के ‘नालायक’ नेता?

प्रदेश भाजपा प्रभारी मुरलीधर राव के बयान से सियासत में मची हलचल।

भोपाल (जोशहोश डेस्क) प्रदेश भाजपा प्रभारी मुरलीधर राव के एक बयान ने प्रदेश की सियासत में हलचल मचा दी है। मुरलीधर राव ने अपनी पार्टी के कुछ खास नेताओं के लिए नालायक शब्द का इस्तेमाल किया है। प्रदेश प्रभारी के बयान के बाद सियासी गलियारों में यह सवाल उठ रहा है कि आखिर मुरलीधर राव की परिभाषा के मुताबिक भाजपा के ‘नालायक’ नेता कौन हैं? और मुरलीधर राव के इस बयान के सियासी अर्थ क्या हैं?

मुरलीधर राव ने गुरुवार को एक कार्यक्रम में कहा था कि जो लगातार तीन-तीन, चार-चार बार से विधायक-सांसद बन रहे हैं, पार्टी का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, ऐसे नेताओं के पास कहने को कुछ और नहीं होना चाहिए, लेकिन अगर ऐसे नेता फिर भी ये कहते हैं कि उन्हें मौका नहीं मिला तो उनसे बड़ा नालायक कोई और नहीं है उन्हें मौका मिलना भी नहीं चाहिए।

यह माना जा रहा है कि मुरलीधर राव का यह बयान पार्टी से नाखुश विधायक-सांसदों को सख्त लहजे में दी गई एक नसीहत है। मंत्रिमंडल के गठन के बाद से ही सीनियर नेता अजय विश्नोई की नाराजगी तो कई बार खुलकर सामने आ चुकी है। अजय विश्नोई के अलावा गौरीशंकर बिसेन, राजेंद्र शुक्ला, सीतासरन शर्मा, पारस जैन, केदारनाथ शुक्ला,नागेंद्र सिंह,रामपाल सिंह,सुरेंद्र पटवा,महेंद्र हार्डिया,रमेश मेंदोला और यशपाल सिसोदिया ऐसे नेता हैं जो मंत्रिमंडल के स्वभाविक दावेदार माने जाते हैं। इनमे से गौरीशंकरबिसेन और यशपाल सिसोदिया को हाल ही में पार्टी ने निगम मंडल और कार्यकारिणी में एडजस्ट किया है।

मुरलीधर राव का दो टूक बयान ऐसे ही सीनियर नेताओं को एक संदेश माना जा रहा है। साथ ही यह कहा जा रहा है कि मुरलीधर राव का यह बयान उनकी व्यक्तिगत राय नहीं है वे पार्टी आलाकमान से मिले संदेशों को ही वे अमल में ला रहे हैं। ऐसे में अब यह तय माना जा रहा है कि पार्टी ने अपने सीनियर नेताओं को घर बिठाने के साथ ही प्रदेश कार्यकारिणी की तरह ही निकाय चुनाव और आगामी विधानसभा चुनाव में युवा चेहरों पर दांव लगाने का मन बना लिया है।

दूसरी ओर मुरलीधर राव के बयान ने कांग्रेस को भाजपा की अंदरूनी राजनीति पर कटाक्ष करने का मौका दे दिया है। प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता योगेंद्र सिंह परिहार ने मुरलीधर राव के बयान पर कहा कि अब ये मुरली की धुन किस की शह पर बज रही है ये तो खोज का विषय है, लेकिन इस धुन ने भाजपा नेताओं की इज्जत धुन के रख दी है। अब ये देखना होगा कि ‘नालायक’ शब्द का अलंकरण सिर्फ मंत्री बनने की चाहत रखने वालों के लिए है या वे वरिष्ठ भाजपा नेता भी नालायक हैं जो मुख्यमंत्री बनने की होड़ में लगे हुए हैं।

मुरलीधर राव को बीते साल नवम्बर में मध्य प्रदेश भाजपा का प्रदेश प्रभारी नियुक्त किया गया था। इससे पहले डॉ. विनय सहस्त्रबुद्धे मध्य प्रदेश के प्रदेश प्रभारी थे। प्रदेश प्रभारी बनने के बाद मुरलीधर राव अपने बयानों के लिए ज्यादा चर्चित रहे हैं। राजगढ़ में हुई बीजेपी के प्रदेश पदाधिकारियों की बैठक में भी मुरलीधर राव ने कहा था कि संगठन के नेता दौरे कर जनता और कार्यकर्ताओं से संवाद करेंअन्यथा उनकी छुट्टी कर दी जाएगी। सियासी गलियारों में यह भी कहा जा रहा है कि मुरलीधर राव संगठन को लेकर जल्दबाजी में नजर आ रहे हैं। सीनियर नेताओं को लेकर इस तरह की बयानबाजी से पार्टी में विपरीत संदेश भी जा सकता है।

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