गुपचुप बिजली महंगी करने की तैयारी, सड़क से सदन तक कांग्रेस करेगी विरोध
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने सब्सिडी घटाने के प्रस्ताव पर सरकार को दी चेतावनी
भोपाल (जोशहोश डेस्क) प्रदेश में चल रहे बिजली संकट के बीच बिजली के दाम बढ़ाने की तैयारी की जा रही है है। ऊर्जा विभाग ने घरेलू उपभोक्ताओं के साथ किसानों को दी जा रही सब्सिडी घटाने का प्रस्ताव तैयार कर लिया है। वहीं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने चेताया है कि अगर घरेलू उपभोक्ताओं और किसानों पर महंगी बिजली का भार डाला गया तो कांग्रेस सड़क से सदन तक इसका विरोध करेगी।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने शनिवार को ट्वीट किया किया कि वर्तमान शिवराज सरकार प्रदेश को अंधकार की ओर ले गई है। कई-कई घंटों की अघोषित कटौती जारी है। मनमाने बिजली बिलों की मार जनता पर थोपी जा रही है और वहीं अब दूसरी और गुपचुप तरीके से बिजली महंगी करने की तैयारी की जा रही है।
कमलनाथ ने कहा कि शिवराज सरकार यह समझ ले यदि उपभोक्ता और किसानों पर महंगी बिजली का भार डाला गया तो कांग्रेस चुप बैठने वाली नहीं है। सड़क से सदन तक हम संघर्ष करेंगे और ऐसे प्रस्तावों व निर्णयों का जमकर विरोध करेंगे।
गौरतलब है कि राज्य के करीब 98 लाख घरेलू बिजली उपभोक्ताओं की सब्सिडी में कटौती करने पर मंत्री समूह ने सहमति दे दी है। दैनिक भास्कर में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक ये वो उपभोक्ता हैं, जो इंदिरा गृह ज्योति योजना में आते हैं। अभी इन्हें महीने में 100 यूनिट बिजली खर्च करने पर 100 रु. बिल देना पड़ता है। जबकि 101 से 150 यूनिट तक जितनी बिजली खर्च हुई, उसका पैसा निर्धारित घरेलू उपभोक्ताओं की दर के अनुसार देना पड़ता है।इस पर 4786 करोड़ रुपए सब्सिडी लगती है।
मंत्री समूह की सिफारिश के अनुसार अब पहले 100 यूनिट के लिए तो 100 रुपए ही लिए जाएंगे। लेकिन यदि 101 यूनिट हो जाएं तो एक से 101 यूनिट तक का बिल वास्तविक घरेलू दरों पर ही बनेगा। अभी घरेलू दर औसतन 8.40 रु. प्रति यूनिट हैं। मंत्री समूह की सिफारिश के बाद ऊर्जा विभाग ने प्रस्ताव बनाकर मुख्य सचिव को भेज दिया है। मुख्य सचिव इस मसले पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से चर्चा करके निर्णय लेंगे। वहीं, मंत्री समूह ने किसानों की सब्सिडी पर अभी कोई अंतिम राय नहीं बनाई है। इस पर नए सिरे से चर्चा होगी। सूत्रों का कहना है कि किसानों की सब्सिडी घटाने के 7 प्रस्ताव बने हैं।
सरकार कोशिश कर रही है कि घरेलू उपभोक्ता और किसानों को दी जा रही सालाना 21 हजार करोड़ रुपए की सब्सिडी को आधा किया जाए। यदि किसानों की सब्सिडी कम होती है तो तीनों बिजली कंपनियों का भार कम हो जाएगा। सरकार इंदिरा किसान ज्योति और इंदिरा गृह ज्योति योजना का नाम स्व. अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर करेगी।