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बुधनी-इंदौर रेलवे लाइन: भूमि अधिग्रहण के लिए मांगे 750 करोड़, 1000 रुपए मिली थी टोकन मनी

मुख्यमंत्री शिवराज ने बुधनी-इंदौर रेलवे लाइन के लिए किए जाने वाले भूमि अधिग्रहण के लिए 750 करोड़ रुपए की मांग की।

नई दिल्ली (जोशहोश डेस्क) मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शनिवार को रेल मंत्री पीयूष गोयल से मुलाकात की। इस दौरान मुख्यमंत्री शिवराज ने बुधनी-इंदौर रेलवे लाइन के लिए किए जाने वाले भूमि अधिग्रहण के लिए 750 करोड़ रुपए की मांग की।

इससे पहले देश के आम बजट 2020-21 में सरकार ने गाडरवाड़ा-बुधनी इंदौर रेलवे लाइन के लिए एक हजार रूपए टोकन मनी का प्रावधान किया था। तीन साल पहले डीपीआर और सर्वे के बाद अभी इस परियोजना पर न के बराबर काम हुआ है।

पश्चिम -मध्य रेलवे की इस योजना के तहत बुधनी से होते हुए गाडरवाड़ा और इंदौर के बीच नया ट्रैक बनना है। इससे इंदौर और जबलपुर के बीच दूरी करीब 68 किलोमीटर कम हो जाएगी। इस परियोजना को साल 2024-25 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था।

इस लाइन से रेहटी, नसरूल्लागंज और खातेगांव भी रेलवे के नक़्शे पर आ जाएंगे। अभी नागपुर या भुसावल से इंदौर आने के लिए भोपाल, सीहोर शुजालपुर होते हुए जाना होता है। नया ट्रैक बनने से इटारसी और भोपाल के बीच अति व्यस्त रेलवे ट्रैफिक को भी राहत मिलेगी।

हाल ही में इस ट्रैक के लिए हैदराबाद की कंपनी ने रेहटी के पासएक ब्रिज निर्माण का कार्य प्रारंभ किया है। बुधनी से इंदौर के मांगलिया के बीच इस ट्रैक पर 14 पुल और 49 पुलिया बनाई जाना हैं। बुधनी और मांगलिया को जंक्शन बनाया जाएगा। इनके बीच 10 नए क्राॅसिंग स्टेशन और सात हाॅल्ट स्टेशन बनाने का प्रस्ताव है।

बजट में टोकन मनी मिलने के बाद अब इस परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण किया जाना है। यही कारण है कि शिवराज ने इसके लिए 750 करोड़ रूपए की मांग रेल मंत्री के सामने रखी है लेकिन जिस रफ़्तार से परियोजना पर काम चल रहा है, इसके समय पर पूर्ण होने की कोई संभावना नहीं दिखती।

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