कोरोनाकाल: MP में गरीबी-बेरोजगारी के कारण 10 महीने में 12500 आत्महत्याएं
कोरोना की पहली लहर के दस महीनों में मध्यप्रदेश में गरीबी और बेरोजगारी से त्रस्त आकर 12500 से ज्यादा लोगों ने दी जान
भोपाल (जोशहोश डेस्क) मध्यप्रदेश में कोरोना की पहली लहर का सामना कर रहे लोगों के लिए गरीबी और बेरोजगारी भी जानलेवा साबित हुई थी। कोरोना की पहली लहर के दस महीनों में ही मध्यप्रदेश में गरीबी और बेरोजगारी से त्रस्त आकर 12500 से ज्यादा लोगों ने जान दे दी थी।
यह जानकारी प्रदेश सरकार के गृहमंत्रालय द्वारा विधानसभा में रखी गई एक रिपोर्ट में सामने आई है। रिपोर्ट में सरकार ने बताया है एक अप्रैल 2020 से जनवरी 2021 तक प्रदेश में 12534 लोगों ने अपनी जान दे दी।
यह आंकड़ा सामने आने के बाद कांग्रेस विधायक जीतू पटवारी ने सरकार के आनंद विभाग और उसके करोड़ों के बजट पर सवाल उठाए हैं। जीतू पटवारी ने कहा कि सरकार लंबे समय से आनंद विभाग पर बड़ा बजट खर्च कर रही है लेकिन इसके बाद भी प्रदेश में इतनी बड़ी संख्या मे लोग गरीबी और बेरोजगारी के कारण आत्महत्याएं कर रहे हैं। यह शर्मनाक स्थिति है। प्रदेश में आनंद विभाग का गठन 2016 में हुआ था।