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प्रदेश की स्वास्थ्य सुविधायें ले रहीं अंतिम सांसें, भोपाल AIIMS ने लगाया बेड फुल का बोर्ड

भोपाल (जोशहोश डेस्क) मध्यप्रदेश में कोरोना की रफ़्तार थमने का नाम नहीं ले रही है। मध्यप्रदेश में बेड, ऑक्सीजन और रेमडेसिविर इंजेक्शन की कमी पूरी नहीं हो पा रही है। लगातार बढ़ते संक्रमण से व्यवस्थाएं चरमरा गई हैं। प्रदेश की राजधानी भोपाल कोरोना संक्रमित शहर बना हुआ है। कोरोना के कहर ने भोपाल की स्वास्थ्य सुविधाओं की कमर तोड़ दी है। अब शहर के सबसे बड़े अस्पताल AIIMS ने परिसर के बाहर बोर्ड लगा दिया है।

बोर्ड पर लिखा है- ‘अभी सब बेड फुल हैं, असुविधा के लिए खेद है.’

कोरोना के बढ़ते संक्रमण के चलते भोपाल के लगभग हर अस्पताल में बिस्तर, ऑक्सीजन, कोरोना से बचने के लिए इंजेक्शन की किल्लत बनी हुई हैं। हर अस्पताल में संक्रमित मरीज़ों का तांता लगा हुआ है। भोपाल के सबसे बड़े अस्पताल AIIMS ने भी अब बाहर बोर्ड लगा दिया है।

मध्यप्रदेश में ऑक्सीजन की व्यवस्था भी पूरी तरह से गड़बड़ा गई है। अस्पतालों में डिमांड से कम ऑक्सीजन मिलने के कारण हड़कंप मचा हुआ है। ऑक्सीजन की पूर्ति नहीं होने के कारण अब अस्पतालों ने भी नए मरीज को भर्ती करने से इंकार कर दिया है। बता दें, भोपाल में 100 टन ऑक्सीजन की हर रोज जरूरत है, लेकिन 80 टन की ही सप्लाई हो रही है। कई अस्पतालों में कुछ ही घंटों की ऑक्सीजन बाकी है।

मध्यप्रदेश में 12,384 लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए। 9620 लोग ठीक हुए और 75 की मौत हो गई। अब तक 4 लाख 59 हजार 195 लोग संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं। इनमें 3 लाख 69 हजार 375 लोग ठीक हो चुके हैं, जबकि 4863 लोगों की मौत हो चुकी है। 84,957 मरीज ऐसे हैं जिनका इलाज चल रहा है।

प्रदेश के 4 बड़े शहरों में 5537 नए केस आए हैं और 26 मरीजों की मौत हुई है। इंदौर में सबसे ज्यादा 1782 नए केस आए हैं, जबकि 6 ने दम तोड़ दिया। भोपाल में भोपाल 1753 संक्रमित सामने आए, 5 की मौत हुई है। ग्वालियर में सबसे ज्यादा संक्रमण दर 39 फीसदी पर है। यहां 1196 संक्रमित आए और 7 की मौत हुई। जबलपुर में 806 संक्रमित आए और सबसे ज्यादा सरकारी रिकाॅर्ड में यहां 8 मौतें हुईं।

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