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‘दैनिक भगवाकरण’ रख लो नाम, उद्देश्य और नाम में हो जाएगी साम्यता

मोहम्मद जुबैर की गिरफ़्तारी पर दैनिक जागरण द्वारा प्रकाशित ख़बर को लेकर सोशल मीडिया में नाराज़गी

नई दिल्ली (जोशहोश डेस्क) फेक्ट चेकिंग पोर्टल ऑल्ट न्यूज़ के सह संस्थापक मोहम्मद जुबैर की गिरफ़्तारी को लेकर सोशल मीडिया पर तर्क-वितर्क जारी है। वहीं जुबैर की गिरफ़्तारी पर दैनिक जागरण द्वारा प्रकाशित ख़बर को लेकर सोशल मीडिया में नाराज़गी दिखाई दे रही है। ख़बर के प्रस्तुतिकरण पर सवाल उठाते हुए दैनिक जागरण को नाम बदलने तक की नसीहत मिल रही है।

दैनिक जागरण ने मोहम्मद जुबैर की गिरफ़्तारी पर जो ख़बर लगायी है। उसके शीर्ष पर आपत्ति जतायी जा रही है। साथ ही इसे स्तरहीन पत्रकारिता का उदाहरण बताया जा रहा है।

कांग्रेस प्रवक्ता और सेवानिवृत विंग कमांडर अनुमा आचार्य ने भी खबर के प्रस्तुतीकरण पर आपत्ति जताई। उन्होंने लिखा- स्तरहीनता की तरफ़ जागरण न्यूज़ के तेज़ी से बढ़ते कदम। इस न्यूज़ पेपर को अपना नाम बदलने की ज़रूरत है. मेरा सुझाव है “दैनिक भगवाकरण” रख लें. उद्देश्य और नाम में साम्यता रहेगी-

वहीं यह भी कहा गया कि मोहम्मद जुबेर ने पिछले कुछ सालों में दैनिक जागरण के झूठ और नफरत वाली रिपोर्टिंग की पोल खोल कर उसकी छवि खराब की है इसलिए अंबानी का अखबार इस तरह की हेडलाइन दे रहा है-

गौरतलब है कि जुबैर को 2018 के एक ट्वीट के आधार पर धार्मिक भावनाएं भड़काने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। उन्हें मंगलवार को पटियाला कोर्ट में पेश किया गया था औऱ फिर चार दिन की रिमांड पर भेज गया है।

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दिल्ली पुलिस के मुताबिक ज़ुबैर पर यह मामला सोशल मीडिया में उनकी एक पोस्ट को लेकर दर्ज किया गया है। साल 2018 में किये गए इस ट्वीट में जुबैर ने फ़िल्म के एक सीन को ट्वीट कर भाजपा पर कटाक्ष किया था। बड़ी बात यह है कि दिल्ली पुलिस के पास इस पोस्ट को लेकर जिस ट्विटर अकाउंट से शिकायत आयी थी वह पिछले साल ही बनाया गया है और जब इस अकाउंट से शिकायत की गई थी तब उसका सिर्फ़ एक ही फॉलोअर था।


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