क्या 15 अगस्त से पहले BJP से ‘आज़ाद’ होंगे नीतीश कुमार?
बिहार में फिर सियासी उलटफेर की अटकलें, 15 अगस्त तक राज्य में जेडीयू-भाजपा गठबंधन टूटने की चर्चाएं।
Ashok Chaturvedi
पटना (जोशहोश डेस्क) बिहार में एक बार फिर सियासी उलटफेर की अटकलें शबाब पर हैं। सियासी घटनाक्रम यह संकेत दे रहे हैं कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अब भाजपा से अपने गठबंधन को पूर्ण विराम देकर राजद के साथ मिल सियासत का नया समीकरण बनाने को तैयार हो चुके हैं। कहा जा रहा है कि 15 अगस्त तक राज्य में जेडीयू और भाजपा गठबंधन टूट जायेगा।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने सभी सांसद और विधायकों को 10 अगस्त तक पटना पहुंचने को कहा है। यह माना जा रहा है कि नीतीश अब बड़ा फैसला लेने की तैयारी में हैं। वहीं JDU के शीर्ष नेताओं के माध्यम से जो मीडिया रिपोर्ट्स आ रही हैं उनके मुताबिक बिहार की राजनीति में अब टर्निंग पॉइंट आ चुका है। साथ ही कहा जा रहा है कि पार्टी ने नीतीश को अंतिम फैसले के लिए अधिकृत कर दिया है।
वहीं राजद ने भी अपने सभी विधायकों को पटना में रहने के लिए कहा है। मंगलवार को तेजस्वी यादव की विधायकों के साथ बैठक होना है। इस बैठक में अगली रणनीति पर मुहर लगने की संभावना है।
गौरतलब है कि बीते कुछ समय से भाजपा और जदयू के बीच दूरी लगातार बढ़ती दिख रही है। जाति आधारित जनगणना के मुद्दे पर नीतीश कुमार भाजपा से अलग-थलग नजर आ रहे हैं। सरकार चलाने में फ्री हैंड नहीं मिलने से भी नीतीश नाराज बताये जा रहे हैं। विधानसभा चुनाव के समय चिराग पासवान प्रकरण के बाद अब नीतीश आरसीपी सिंह के मामले को लेकर भी भाजपा से खफा हैं। बीते कुछ महीने में नीतीश ने कई अहम बैठकों से दूरी रहे हैं।
वर्तमान में जदयू के पास 45 विधायक हैं। सरकार बनाने के लिए नीतीश को 77 विधायकों की जरूरत है। अगर राजद के 79 विधायक साथ आते हैं तो इस गठबंधन के पास 124 सदस्य हो जाएंगे, जो बहुमत से ज्यादा हैं। गठबंधन में कांग्रेस के 19 और कम्यूनिस्ट पार्टी के 12 विधायकों के भी शामिल होने की सम्भावना है।