पेगासस : मोदी सरकार को झटका, SC ने जांच के लिए बनाई एक्सपर्ट कमेटी
सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज आरवी रविंद्रन की अध्यक्षता में मामले की जांच करेगी कमेटी।
Ashok Chaturvedi
नई दिल्ली (जोशहोश डेस्क) पेगासस स्वाइवेयर से जासूसी के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से नाराजगी जाहिर करते हुए तीन सदस्यीय एक्सपर्ट कमेटी बनाई है। कमेटी सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज आरवी रविंद्रन की अध्यक्षता में मामले की जांच करेगी।
चीफ जस्टिस एनवी रमना, जस्टिस सूर्यकांत, जस्टिस हिमा कोहली की बेंच ने फैसला सुनाते हुए कहा कि विवेकहीन जासूसी मंजूर नहीं की जा सकती। किसी की निजता का उल्लंघन नहीं होनी चाहिए। चीफ जस्टिस एनवी रमना ने पेगासस मामले को लेकर कहा कि निजता के हर आक्रमण को तार्किकता और संवैधानिक आवश्यकता की कसौटी पर खरा उतरना चाहिए।
सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने यह भी कहा कि वैधानिक कानून के बिना इस तरह के आक्रमण की अनुमति नहीं दी जा सकती। जीवन और स्वतंत्रता का अधिकार सबसे ऊंचा है। उनमें संतुलन भी जरूरी है. तकनीक पर आपत्ति सबूतों के आधार पर होनी चाहिए। इसके साथ ही चीफ जस्टिस ने कहा कि प्रेस की आजादी पर कोई असर नहीं होना चाहिए।
सुप्रीम कोर्ट द्वारा एसआईटी गठित किए जाने को सरकार के लिए झटका माना जा रहा है। वहीं कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दलों का इस निर्णय के बाद सरकार पर हमलावर होना तय है-
सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जस्टिस आर वी रवींद्रन की अध्यक्षता में बनाई गई एक्सपर्ट कमेटी में 3 सदस्य होंगे। जस्टिस आर वी रवींद्रन के अलावा आलोक जोशी और संदीप ओबेरॉय कमेटी में अन्य सदस्य होंगे। इनके अलावा तीन तकनीकी सदस्य भी कमेटी के हिस्सा होंगे। कमेटी पेगासस से जुड़े आरोपों की जांच कर रिपोर्ट कोर्ट को सौंपेगी। सुप्रीम कोर्ट में 8 हफ्ते बाद फिर मामले में सुनवाई की जाएगी।