भोपाल (जोशहोश डेस्क) व्यापमं घोटाले में घिर चुकी शिवराज सरकार अब मध्यप्रदेश टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट (MP-TET) पेपर लीक मामले में भी फंसती नजर आ रही है। कांग्रेस ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के ओएसडी लक्ष्मण सिंह मरकाम के मोबाइल पर 35 पेज का पेपर और आंसरशीट पहुंचने का गंभीर आरोप लगाया है। आरोपों के बाद लक्ष्मण सिंह मरकाम ने कांग्रेस प्रवक्ता केके मिश्रा और व्यापमं के व्हिसलब्लोअर आनंद राय के खिलाफ छवि धूमिल करने की एफआईआर दर्ज कराई है।
कांग्रेस ने मध्यप्रदेश टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट (MP-TET) पर सवाल खड़े किए हैं। प्रदेश कांग्रेस महामंत्री व मीडिया प्रभारी केके मिश्रा ने तीन बार नाम बदल चुके व्यापमं द्वारा ली जा रही मप्र प्राथमिक पात्रता शिक्षक वर्ग-3 परीक्षा में प्रश्रपत्र लीक कर अयोग्य परीक्षार्थियों की पूर्व नियोजित भर्ती का गंभीर आरोप लगाया है। उन्होंने MP-TET पेपर लीक मामले में मुख्यमंत्री के मौजूदा ओएसडी लक्ष्मणसिंह मरकाम पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं।
केके मिश्रा ने कहा कि जब परीक्षा ऑनलाइन हो रही है और इसमें मोबाइल फ़ोन पूरी तरह वर्जित है तो मुख्यमंत्री के पदस्थ मौजूदा ओएसडी लक्ष्मणसिंह मरकाम के मोबाइल पर 25 मार्च को सम्पन्न 35 पृष्ठीय प्रश्नपत्र और आंसरशीट कैसे पहुँची? केके मिश्रा ने लक्ष्मणसिंह का मोबाइल जब्त कर निष्पक्ष जांच की मांग भी की है।
केके मिश्रा ने कहा कि इससे पहले व्यापमं घोटाले में भी मुख्यमंत्री के शासकीय आवास में ही रह रहे तत्कालीन ओएसडी प्रेमप्रकाश का भी नाम बतौर आरोपी सामने आया था और उन्हें जिला न्यायालय, भोपाल से अग्रिम जमानत भी करवानी पड़ी थी।
इधर पेपर लीक के आरोपों के बाद लक्ष्मण सिंह मरकाम ने अजाक थाना भोपाल में कांग्रेस नेता केके मिश्रा, व्यापमं कांड के व्हिसिल ब्लोअर डाॅ. आनंद राय के खिलाफ केस दर्ज कराया है। लक्ष्मण सिंह का कहना है कि केके मिश्रा और आनंद राय ने सोशल मीडिया के जरिए उनकी छवि धूमिल की है। लक्ष्मण सिंह की शिकायत पर एट्रोसिटी एक्ट की धाराओं में प्रकरण दर्ज किया गया है।
प्रकरण दर्ज किये जाने को कांग्रेस नेता केके मिश्रा, व्यापमं कांड के व्हिसिल ब्लोअर डाॅ. आनंद राय ने डराने का प्रयास बताया है-
इससे पहले ग्वालियर के मदन मोहन दौहरे नाम के परीक्षार्थी ने MP-TET (मध्यप्रदेश टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट) ने पेपर लीक का दावा करते हुए परीक्षा में फर्ज़ीवाड़े का आरोप लगाया था। मदन मोहन का कहना था कि जब वह परीक्षा देकर लौट रहा था तब उसने एक व्यक्ति के मोबाइल में MP-TET पूरा पेपर देखा था। मदन मोहन का कहना था कि मोबाइल में उसने जो पेपर देखा वह परीक्षा में आये पेपर से पूरी तरह मिल रहा था जबकि सेंटर से पेपर बाहर लाया ही नहीं जा सकता।
मदन मोहन ने मोबाइल में पेपर के स्क्रीनशॉट को सीएम शिवराज सिंह चौहान को टैग कर ट्वीट कर सवाल भी उठाये थे। उसने लिखा था कि- यह क्या हो रहा है? क्या इसी प्रकार सभी परीक्षाओं में फर्जीवाड़ा होता रहेगा। बेरोजगारों की प्रतिभा का ऐसे ही हनन होता रहेगा।
इस पूरे प्रकरण के बाद सबसे बड़ा सवाल यह है कि जब परीक्षा केंद्र में मोबाइल ले जाने की अनुमति ही नहीं थी तो पेपर मोबाइल में कैसे पहुंचा? आशंका जताई जा रही है कि पेपर पहले ही लीक हो चुका था। परीक्षार्थी मदन मोहन को मिले युवक ने भी उसे पेपर एक रात पहले ही मिलने की बात कही थी।
पूरे वाकए से साफ है कि एक बड़ा रैकेट पेपर लीक की साजिश में शामिल है। परीक्षार्थियों के साथ कांग्रेस ने भी पेपर लीक की निष्पक्ष जांच की मांग की है। कांग्रेस नेता केके मिश्रा का कहना है कि मुझे खुशी होती कि सरकार इतने बड़े मामले की साइबर क्राइम से जांच कराने की घोषणा करती और सीएम शिवराज सिंह चौहान के OSD लक्ष्मण सिंह मरकाम के मोबाइल की जांच कराती और दस्तावेज मांगती।