इस योजना से जहां बिजली कंपनी को बिजली चोरी की रोकथाम, बिल की वसूली से लेकर नए कनेक्शन में मदद मिली है।
Ayushi Jain
Electricity
ग्वालियर (जोशहोश डेस्क) मध्यप्रदेश की मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी (Central Region Power Distribution Company) ने ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए निष्ठा विद्युत मित्र योजना शुरु की है। इस योजना से जहां बिजली कंपनी को बिजली चोरी की रोकथाम, बिल की वसूली से लेकर नए कनेक्शन में मदद मिली है वहीं महिलाओं की आमदनी भी बढ़़ी है। इस काम में लगी महिलाओं को गांव में ‘वसूली भाभी’ (Vasooli Bhabhi) के तौर पर पहचाना जाने लगा है। बताया गया है कि मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी ने अपने कार्यक्षेत्र के भोपाल, नर्मदापुरम, ग्वालियर एवं चंबल संभाग के 16 जिलों में महिला आत्मनिर्भरता के लिए विशेष योजना ‘निष्ठा विद्युत मित्र योजना’ संचालित की है। राज्य ग्रामीण अजीविका मिशन के अंतर्गत स्व-सहायता समूह में पंजीकृत महिलाओं को निष्ठा विद्युत मित्र के रूप में अनुबंधित किया गया है। योजना से 200 से भी अधिक महिलाओं को आर्थिक लाभ हो रहा है और वे अपने घर की जरूरतें और बच्चों की परवरिश को पूरा कर रही हैं।
ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर (Pradyuman Singh Tomar) ने कहा है कि यह योजना बेहतर परिणाम के साथ-साथ महिलाओं को आत्मनिर्भर बना रही है। योजना में निष्ठा विद्युत मित्रों को बिजली बिल की वसूली और नए कनेक्शन, राजस्व वसूली, बिजली चोरी की रोकथाम आदि के काम दिए गए हैं।
बताया गया है कि मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के कार्यक्षेत्र में 224 निष्ठा विद्युत मित्रों ने 31 लाख से भी अधिक राजस्व वसूली की है। नए बिजली कनेक्शन दिए हैं। निष्ठा विद्युत मित्रों को गांवों में लोग ‘वसूली भाभी’ के नाम से जानते हैं।
बताया गया है कि इस योजना के जरिए महिलाएं आर्थिक तौर पर आत्मनिर्भर भी बन रही है। इस योजना में अर्धवार्षिक गणना के अनुसार पिछले वर्ष की तुलना में स्व-सहायता समूह द्वारा अधिक वसूली गई राशि पर 15 प्रतिशत प्रोत्साहन राशि दी जाती है। नवीन सिंगल फेज कनेक्शन जारी करवाने पर 50 रुपये प्रति कनेक्शन प्रोत्साहन राशि दी जाती है। इसके साथ ही तीन फेज सिंचाई पंप कनेक्शन जारी करवाने पर दो सौ रुपये प्रति कनेक्शन प्रोत्साहन राशि मिलती है। इसके अलावा बिजली चोरी की सूचना देने पर प्रकरण सही पाए जाने पर बिल की गई राशि प्राप्त होने पर 10 प्रतिशत प्रोत्साहन राशि देने का प्रावधान है।