महाकाल की व्यवस्था में बड़ा बदलाव, जानें कब से कर पाएंगे गर्भगृह से दर्शन?
अगले माह से होने जा रहा महाकाल दर्शन की व्यवस्था में बड़ा परिवर्तन। उज्जैन दर्शन बस सेवा भी की जाएगी फिर शुरू।
Ashok Chaturvedi
उज्जैन (जोशहोश डेस्क) अगर आप महाकाल के दर्शन को जा रहे हैं तो यह जान लीजिए कि महाकाल के दर्शन की व्यवस्था में बड़ा परिवर्तन अगले माह से होने जा रहा है। अगले माह से महाकाल के दर्शन ठीक उसी तरह किये जा सकेंगे जिस तरह कोरोनकाल से पहले किये जाते थे। यानी छह दिसंबर से भक्त गर्भगृह में जाकर महाकाल के दर्शन कर सकेंगे। साथ ही उज्जैन दर्शन बस सेवा भी फिर शुरू की जाएगी। यह निर्णय गुरुवार को महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति की बैठक में लिया गया।
श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति की बैठक गुरुवार को कलेक्टर एवं अध्यक्ष श्री महाकालेश्वर मन्दिर प्रबंध समिति आशीष सिंह की अध्यक्षता में आयोजित की गई। बैठक में आगामी 6 दिसम्बर से श्रद्धालुओं को गर्भगृह में कोविड महामारी में लगाये गये प्रतिबंधों के पूर्व प्रवेश व्यवस्था के अनुरूप प्रवेश देने का निर्णय लिया गया है। इससे पहले राज्य शासन द्वारा 17 नवम्बर से कोविड-19 महामारी के समय जारी समस्त प्रतिबंध हटा लिये थे।
बैठक में निर्णय लिया गया कि महाकाल महाराज मन्दिर परिसर विस्तार का रूद्र सागर का कार्य पूर्ण होने के बाद श्रद्धालुओं के लिये त्रिवेणी संग्रहालय से फेसिलिटी सेन्टर तक आने-जाने के लिये ई-कार्ट की सुविधा उपलब्ध कराने हेतु आवश्यक कार्यवाही एवं निविदा का प्रस्ताव तैयार किया जाये। साथ ही श्री महाकाल महाराज मन्दिर विस्तार योजना अन्तर्गत भूमि अधिग्रहण के लिये कुल 150.92 करोड़ रुपये की राशि का आवंटन राज्य शासन से करने हेतु पत्र भेजा गया है। बैठक में उक्त कार्यवाही का अनुमोदन किया गया।
बैठक में महाकालेश्वर मन्दिर में वर्तमान में अनुमति प्राप्त फोटोग्राफरों की संख्या पर्याप्त होने पर नये फोटोग्राफरों को अनुमति नहीं देने का भी निर्णय लिया गया। इसके अलावा श्री महाकालेश्वर मन्दिर प्रबंध समिति के अन्तर्गत सभी कर्मचारियों, शिक्षकों की वार्षिक वेतन वृद्धि के सम्बन्ध में चर्चा की गई तथा निर्णय लिया गया कि प्रतिवर्ष वार्षिक वेतन वृद्धि नियत करने का एक समग्र प्रस्ताव बनाकर आगामी बैठक में प्रस्तुत किया जाये।
बैठक में पुलिस अधीक्षक सत्येन्द्र कुमार शुक्ल, नगर निगम आयुक्त अंशुल गुप्ता, एडीएम संतोष टैगोर, समिति प्रशासक गणेश कुमार धाकड़, समिति के सदस्य पं.आशीष पुजारी, दीपक मित्तल, विजयशंकर शर्मा एवं पं.प्रदीप पुजारी मौजूद थे।